अब महाराष्ट्र-झारखंड में चुनावी सरगर्मियां तेज..
■ भाजपा ने दोनों राज्यों में लगाई सौगातों -वादों की झड़ी ■ विपक्षी खेमा भी सक्रिय हुआ ■ इन दोनों राज्यों में चुनाव नवंबर में होने की चर्चा
● बिलासपुर के सांसद केन्द्रीय राजयमंत्री बनाए गए..
बिलासपुर। मोदी सरकार को असंभावित निर्णय लेने वाली सरकार के रूप में भी जाना जाता है। राज्य के एक सीनियर मंत्री बृजमोहन अग्रवाल को लोकसभा से टिकिट देकर चुनाव लड़ने कहा गया तो कहां तो कयास लगाए जा रहे थे कि जीतने पर वे ही संभवतः छत्तीसगढ़ से प्रतिनिधित्व करेंगे पर अचानक ही बिलासपुर के सांसद तोखन साहू को कैबिनेट में राज्य मंत्री के रूप में जगह मिल गई। इधर 11 सीटों वाले राज्य में इससे ज्यादा की उम्मीद भी किसी को नहीं है। पर सभी मायनों से बृजमोहन जैसे अजेय योध्दा को न लेकर नए चेहरे को मंत्रिमंडल में लेने के भाजपा के फैसले एक बार सभी को फिर चौका दिया है। तोखन साहू ने राज्य मंत्री पद की शपथ ली है।
शपथ ग्रहण से पहले उनके पास पीएमओ से तब कॉल आया जब वे दिल्ली के छत्तीसगढ़ भवन स्थित हनुमान मंदिर में पूजा कर रहे थे। इस फोन काल से आश्चर्य कर कहा कि उन्हें इसकी बहुत खुशी भी हुई। इसी के बाद सांसद तोखन पीएम आवास पहुंचे। छत्तीसगढ़ बनने के बाद से अभी तक कुल 6 सांसदों को मंत्रिमंडल में जगह मिली है लेकिन किसी को भी कैबिना मंत्री नहीं बनाया गया सभी को केन्द्र सरकार में राज्यमंत्री का ही पद दिया गया था। बिलासपुर लोकसभा के इतिहास में तोखन साहू ने रिकॉर्ड मतों से जीत दर्ज की है। उन्होंने कांग्रेस के देवेन्द्र यादव को 1.64 लाख मतों से हराया है। तोखन साहू मुंगेली जिले के डिंडौरी गांव के रहने वाले हैं। उनके पिता किसान हैं।
छत्तीसगढ़ में सबसे ज्यादा आबादी 30 लाख के करीब साहू समाज की ही है। प्रदेश की राजनीति में दलगत आधार पर भी चाहे कांग्रेस हो या भाजपा शुरू से ही साहू समाज की दोनों दलों में पूछपरख रही है। हर चुनाव में दोनों ही प्रमुख दल साहू समाज से नेताओं को समुचित प्रतिनिधित्व का अवसर देती रहे हैं। लेकिन समाज को अभी तक सरकार में राष्ट्रीय स्तर पर प्रतिनिधित्व का अवसर नहीं मिल सका था। क्षेत्रीय स्तर यानी बिलासपुर लोकसभा क्षेत्र में भी साहू समाज निर्णायक रहा है। साहू समाज के पदाधिकारियों के अनुसार लोकसभा चुनाव में समाज की ओर से दो लोगों के लिए टिकिट मांगा गया था लेकिन भाजपा ने केवल एक को ही प्रत्याशी बनाया तभी से साहू समाज के पदाधिकारी नाराज हो गए थे। इसका असर यह रहा कि तोखन साहू को खुद के ही विधानसभा क्षेत्र में सबसे कम लीड 475 वोट ही मिले। अब समझा रहा है कि इसी के बाद तोखन साहू को मंत्री बनाकर पार्टी ने साहू समाज को साधने की कोशिश की है।
|
■ भाजपा ने दोनों राज्यों में लगाई सौगातों -वादों की झड़ी ■ विपक्षी खेमा भी सक्रिय हुआ ■ इन दोनों राज्यों में चुनाव नवंबर में होने की चर्चा
हम एक धर्म निरपेक्ष देश हैं । हमारे निर्देश सभी के लिए होंगे। चाहे वे किसी धर्म या व्यवसाय के हों। अगर सड़क के बीच में कोई धार्मिक संरचना है फिर वह गुरूद्वारा हो, दरगाह या फिर मंदिर, तो उसे हटाना ही पड़ेगा। यह जनता के आवागमन में बाधा नहीं डाल सकती। साथ ही अवैध निर्माण तोड़ने से पहले पर्याप्त समय देना चाहिए। महिलाओं और बच्चों को सड़क पर देखना अच्छा नहीं । - जस्टिस बी.आर. गवई
हम एक धर्म निरपेक्ष देश हैं । हमारे निर्देश सभी के लिए होंगे। चाहे वे किसी धर्म या व्यवसाय के हों। अगर सड़क के बीच में कोई धार्मिक संरचना है फिर वह गुरूद्वारा हो, दरगाह या फिर मंदिर, तो उसे हटाना ही पड़ेगा। यह जनता के आवागमन में बाधा नहीं डाल सकती। साथ ही अवैध निर्माण तोड़ने से पहले पर्याप्त समय देना चाहिए। महिलाओं और बच्चों को सड़क पर देखना अच्छा नहीं । - जस्टिस बी.आर. गवई
■ हमारे साझा सरोकार "निरंतर पहल" एक गम्भीर विमर्श की राष्ट्रीय मासिक पत्रिका है जो युवा चेतना और लोकजागरण के लिए प्रतिबद्ध है। शिक्षा, स्वास्थ्य, खेती और रोजगार इसके चार प्रमुख विषय हैं। इसके अलावा राजनीति, आर्थिकी, कला साहित्य और खेल - मनोरंजन इस पत्रिका अतिरिक्त आकर्षण हैं। पर्यावरण जैसा नाजुक और वैश्विक सरोकार इसकी प्रमुख प्रथमिकताओं में शामिल है। सुदीर्ध अनुभव वाले संपादकीय सहयोगियों के संपादन में पत्रिका बेहतर प्रतिसाद के साथ उत्तरोत्तर प्रगति के सोपान तय कर रही है। छह महीने की इस शिशु पत्रिका का अत्यंत सुरुचिपूर्ण वेब पोर्टल: "निरंतर पहल डॉट इन "सुधी पाठको को सौपते हुए अत्यंत खुशी हो रही है। संपादक समीर दीवान
Address
Raipur
Phone
+(91) 9893260359