• 28 Apr, 2025

आपके फोन में हो सकता है जासूस ...

आपके फोन में हो सकता है जासूस ...

• सावधान कोई है जो झांक रहा है...| • देश के 42 करोड़ फोन में स्पाईवेयर, तेजी से फैल रहा है एप के जरिए |

नई दिल्ली।  मोबाइल फोन की सुविधाएं इस्तेमाल करने की ललक हमें जोखिम में भी डाल सकती है। अक्सर ही हम सब गूगल प्ले से कई तरह के एप डाउललोड करते हैं पर ऐसा करना बहुत खतरनाक साबित हो सकता है। 

  इंडियन कम्प्यूटर इमरजेंसी रेस्पांस टीम ( सर्ट-इन ) ने हाल ही में एक ऐसा ही सॉफ्टवेयर खोज निकाला है जो न सिर्फ फोन में मौजूद ई-मेल आदि की जानकारियां चुराता है बल्कि फोन के कैमरे का इस्तेमाल कर रिकॉर्डिंग भी करता है।  जहां घर में फोन रखा हो उसके आस-पास होने वाली बातें सुनता है और हैरानी की बात है कि यह सॉफ्टवेयर देश के 42 करोड़ एंड्राइड फोन में पहुंच चुका है।  

   इसका नाम है- स्पिन ओके – जो गूगल प्ले स्टोर में मौजूद  105 एप के जरिये फोन तक पहुंच चुका है।  यह बहुत खतरनाक साबित हो  सकता है। इसकी गंभीरता को देखते हुए केन्द्र सरकार ने मंत्रालय के  अपने  सभी स्टाफ मेंबर को अपने अपने मोबाइल फोन ले इस संदिग्ध एप को हटाने के निर्देश दिए हैं ताकि राष्ट्रीय हित से जुड़ी महत्वपूर्ण गोपनीय सूचनाएं जिसे क्लासिफाइड इनफरमेंशन कहते हैं लीक न हों। 

डिलीट किया गया कंटेंट भी खुद ही खोज निकालता है

सरकारी महकमे में इस खबर के बाद जो निर्देश जारी हुए हैं उसने सभी को सचेत कर दिया है।  आईटी मंत्रालय के सूत्रों के मुताबिक –स्पिन ओके बहुत ही खतरनाक है। यह बहुत ही कम समय में 42 करोड़ फोन तक पहुंचा है। यह एप के जरिए फोन में आता है फिर जावा स्क्रिप्ट कोड के जरिए धीरे धीरे कैपेसिटी बढ़ाता है। फोन में मौजूद डेटा की कॉपी कर उसे अज्ञात रिमोट सर्वर रूम तक पहुंचाता है। इतना ही नहीं यह फोन से डिलीट कर दी गई फाइलों को भी हासिल कर लेता है।  यह फोन में मौजूद फाइलों में बदलाव भी कर सकता है। और फोन के कैमरे का अपने आप ही इस्तेमाल कर लेता है।  इसे किसी की मदद की जरूरत नहीं होती। 

फोन में स्पाईवेयर है या नहीं यह कैसे पता करें  

इस खतरनाक जान पड़ते सॉफ्टवेयर से बचने के लिए विशेषज्ञों ने कुछ तरीके सुझाए हैं। कई बार हम महसूस करते हैं कि फोन में विज्ञापन बिना किसी वजह के खुल जाते हैं। ऐसे में पूरी आशंका है कि आपके फोन में सॉफ्टवेयर हो सकता है।  इसलिए पिछले कुछ महीनों में डाउनलोड किए गए एप को अनइंस्टाल करना ही बेहतर होगा। 

क्या करें बचने के लिए –

  • एंड्रायड फोन में सबसे पहले एंटी वायरस और एंटी स्पाईवेयर डाउनलोड करें। 
  • किसी भी वेबसाइट या एप पर खुलने वाले विज्ञापनों पर क्लिक न करें। 
  • ई-मेल या अन्य माध्यमों से आने वाले अनजान लिंक पर क्लिक न करें।
  • गूगल प्ले स्टोर से कोई भी एप डाउनलोड करने से पहले उलरा रिव्यूव जरूर पढ़ लें। 
  • जो वेबसाइट भरोसेमंद न हो उससे कोई भी एप डाउनलोड न करें।
  • एंड्रायड फोन का समय समय पर अपडेट करते रहें। 

इन एप्स में स्पाईवेयर हैं-

यह सॉफ्टवेयर जिन एप के जरिए फोन में पहुंचता है उनमें ज्यादातर ऑनलाइन कैश अवार्ड, गेम्स, फिटनेस, वीडियो एडिटिंग, वीडियो मेकिंग, निवेश जैसी सेवाएं देने का दावा करते हैं।  इनमें 10 प्रमुख एप नॉइस वीडियो एडिटर, बियूगा, एमवी बिट, क्रेजी डॉप्स, टिक, वी प्लाई, कैश जाइन, कैश ईएम और पिज्जो नोवेल शामिल है। 

जापयो और नाइस वीडियो एडिटर के 10 करोड़ यूजर्स हैं। इसी तरह बियूगो, एमवी बिट और वी प्लाई के भी पांच करोड़ से ज्यादा यूजर्स हैं। बैंक बिंगो स्लाट, जैकपॉट किंग, लक्की जैकपॉट, बबल कन्क्ट, पिक प्रो, इंस्टाकैश, गोल्ड माइनर काइंस, मैच फन 3 डी, स्टेप काउंटर, कीप फिट, टीटी ट्यूब, शार्ट वीडियो, कॉइन वाइब, कैसीनो रॉयल, लकी वर्ल्ड कप, औह कैश, कैंडी गैस, मेम गुरू, पिक्स मेनिया जैसे कुल 105 एप संदिग्ध बताये गए हैं। इनसे दूर रहन में ही भलाई है।