सुप्रीम कोर्टने कहा- बिना सहमति संबंधों को माना दुष्कर्म तो नष्ट होगी विवाह संस्था
■ केन्द्र मैरिटल रेप को अपराध बनाने के खिलाफ
● शीर्ष कोर्ट पहुंचा नीट-यूजी का मामला,नोटिस जारी
नई दिल्ली। सुप्रीम कोर्ट ने देशभर में मेडिकल कॉलेजों में दाखिले के लिए होने वाली राष्ट्रीय पात्रता प्रवेश परीक्षा (नीट) यूजी 2024 में अनियमितता और कदाचार के आरोप और दोबारा परीक्षा की मांग वाली याचिका पर केन्द्र सरकार और नेशनल टेस्टिंग एजेंसी ( एनटीए) को नोटिस जारी कर दिया है। सुप्रीम कोर्ट ने कहा है कि परीक्षा की पवित्रता बनाए रखना बहुत जरूरी है। यहां तो पवित्रता पर ही सवाल उठ रहे हैं। लिहाजा एनटीए को जवाब देना होगा। अदालत ने हालांकि काउंसलिंग पर रोक लगाने से इंकार कर दिया।
जस्टिस विक्रम नाथ और जस्टिस अहसानुद्दीन अमानुल्लाह की अवकाश पीठ ने कहा कि परीक्षा पर बहुत सारे सवाल उठ रहे हैं। यह इतना आसान नहीं है जितना आप समझ रहे हैं। आपने किया है इसलिए यह पवित्र है ऐसा भी नहीं है। पवित्रता तो प्रभावित हुई है इसलिए हमें जवाब चाहिए। हालांकि याचिकाकर्ता के वकील मैथ्यूज जे नेदुम्पारा के काउंसलिंग निरस्त करने के आवेदन को नामंजूर करते हुए पीठ ने कहा हम ऐसा नहीं कर रहे। एमबीबीएस, बीडीएस व अन्य पाठ्यक्रमों में प्रवेश के लिए सफल उम्मीदवारों की कांउसलिंग तय कार्यक्रम के अनुसार ही होगी। केन्द्र और एनटीए के अलावा पीठ ने बिहार सरकार को भी नोटिस जारी किया है। दरअसल बिहार में परीक्षा में गड़बड़ बिहार में परीक्षा में गड़बड़ी के आरोप थे। याचिका में पेपर लीक होने के कारण नतीजा रद्द करने और दोबारा परीक्षा कराने की मांग की गई है। साथ ही गड़बड़ी की एसआईटी की जांच की मांग भी की गई है।
लंबित याचिका के साथ नई याचिकाएं जोड़ दी,सुनवाई 8 जुलाई को होगी-
पीठ ने इस दलील पर गौर किया कि नई याचिका को पहले से इसी तरह की लंबित याचिका के साथ जोड़ दिया जाना चाहिए । इस याचिका पर साजेआई डी वाई चंद्रचूड़ की पीठ ने 17 मई को केन्द्र और एनटीए को नोटिस जारी किया था। पीठ ने इसी तरह की शिवांगी मिश्रा और 9 अन्य अभ्यर्थियों की याचिकाएं लंबित याचिका के साथ संलग्न कर दी। परीक्षा 5 मई को हुई थी। परिणाम 4 जून को आए थे।
सुप्रीम कोर्ट ने मेडिकल के स्नातकोत्तर पाठ्यक्रमों में प्रवेश के लिए 2022 में हुई नीट परीक्षा में विसंगतियों का आरोप लगाने उत्तर कुंजी और उत्तर पुस्तिकाओं का खुलासा करने की मांग वाली याचिका सिरे से खारिज कर दी। पीठ ने कहा कि समय बीतने से याचिकाएं निष्फल हो गई हैं। याचिकाकर्ताओं के वकील ने कहा कि याचिका निष्फल नहीं हुई हैं क्योंकि छह में से दो याचिकाकर्ता इस साल 23 जून को नीट -पीजी देंगे। पीठ ने कहा - वह इसे बेवजह लंबित नहीं रख सकते।
6 याचिकाएं और पांच बड़ी मांगें-
16 मई को एक छात्रा ने बिहार , उत्तरप्रदेश और अन्य राज्यों में नीट पेपर लीक होने की खबरों का हवाला देकर दोबारा परीक्षा कराने और जांच कराने संबंधी याचिका लगाई। सीजेआई ने 17 मई को केन्द्र और एनटीए से जवाब मांगा था।
हरियाणा के एक ही परीक्षा केन्द्र में 6 छात्रों को 720 अंक में 720 अंक मिले, कुछ अन्य मामलों में समान अंक पाने वालों के रोल नंबर आसपास ही रहे। ऐसा कैसे संभव है, परीक्षा दोबारा हो इसकी जांच हो इस तरह की मांगें उठीं।
2023 में 650 से अधिक नंबर वाले 7 हजार छात्र रहे इस बार 35 हजार हैं। इस बार तो हद ही हो गई जैसे क्योंकि 67 छात्र ऐसे हैं जिन्हें 720 में से 720 अंक मिले हैं। कहा गया कि 720 नंबर के पेपर में 718 और 719 नंबर असंभव है फिर कैसे मिले.
ऑफ लाइन परीक्षा में देरी का पैमाना क्या है, ग्रेस मार्क कैसे दिये गए। एनटीए ने चुनिंदा सेंटरों पर परीक्षा देरी से शुरू होने की बात सही साबित करने के लिए न तो कोई रिपोर्ट दी और न ही कोई सीसीटीवी फुटेज ही दिया है।
1563 छात्रों को देरी की बात कहकर ग्रेस मार्क दिये गए। ऑफलाइन परीक्षा के लिए पेपर पहले ही केन्द्र पर जाता है। परीक्षा में 15 मिनट की देरी पर 15 मिनट समय देते हैं, चुनिंदा लोगों को ग्रेस मार्क क्यों दिए गए। |
क्या ये नीट क्लीन है.. सांसद का दावा- 720 में से 720 नंबर पाने वाले सभी 67 छात्र फरीदाबाद के नई दिल्ली । नीट -यूजी 2024 परीक्षा को लेकर सनसनीखेज दावे किये गए हैं। मध्यप्रदेश से राज्यसभा सांसद और सुप्रीम कोर्ट के वकील विवेक तन्खा ने सोशल मीडिया पर लिखा 720 में से 720 अंक पाने वाले सभी 67 छात्र फरीदाबाद क्षेत्र के हैं। इस परीक्षा की पारदर्शिता पर तो कई सार्वजनिक मंचों पर सवाल उठ रहे हैं। एनटीए इस मामले में पूरी तरह बेनकाब हो गया है। इससे 24 लाख बच्चों का भविष्य दाव पर लगा है। वहीं नीट गड़बड़ी मामले में सुप्रीम कोर्ट में याचिका लगाने वाले अलख पांडे ने कहा 5 मई को झारखंड की एजेंसी की सूचना पर विहार पुलिस ने वाहन को रोका , उसमें से तीन लोग मिले। तलाशी में उसमें चार प्रवेश पत्र मिले। इनमे से एक छात्र पटना के डीएवी सेंटर पर था। परीक्षा के बाद बिहार पुलिस ने उसे पकड़ा और उससे पूछताछ की तो उसने बताया कि उसे दो दिन पहले पेपर रटाया गया था और आज वही पेपर आया है। इस बीच एनटीए के जवाब नहीं देने से बिहार में नीट पेपर लीक की जांच रुक गई। बिहार आर्थिक अपराध इकाई (ईओयू) ने एनटीए से 7 छात्राओं सहित 11 अभ्यर्थियों की पूरी जानकारी मांगी थी। सोमवार 10 जून को ईओयू ने एनटीए को रिमाइंडर भेजा है, जवाब न दिया तो कोर्ट जाएंगे। |
■ केन्द्र मैरिटल रेप को अपराध बनाने के खिलाफ
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● एक राष्ट्र एक छात्र- अपार आई डी योजना का जल्द क्रियान्वयन होगा ● आई डी आजीवन रहेगी और डीजी लॉकर के जरिए आसानी से उपलब्ध होगी ● कक्षा पहली से 12 वीं तक हर विद्यार्थी की बनेगी अपार आई डी ● सबसे पहले 9 वीं से 12 वीं के विद्यार्थियों का बनेगा ● बच्चों की शारीरिक प्रगति और उपलब्धियों की जानकारी रहेगी इसमेंं ● स्कूल शिक्षा विभाग ने जारी किए दिशा निर्देश
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